Magh Purnima Kab Hai: हमारे हिन्दू धर्म में माघ पूर्णिमा की पर्ब माघ मास की शुक्ल पक्ष पूर्णिमा तिथि 11 फेरबरी 2025 को साम 06:55 मिनट पर सुरु होगा और 12 फेरबरी को 07:22 मिनट पर समाप्त होगा। और गणित के हिसाब से इसी साल माघ पूर्णिमा की पर्ब 12 फेरबरी यानि बुधबार को पालन किआ जायेगा।
माघ पूर्णिमा के समय पर पबित्र नदी में स्नान और दान करने का बिसेस महत्व है। और जिस भी ब्यक्ति को कुम्ब मेला के दौरान स्नान करने का स्वोभाग्य प्राप्त नहीं हुआ है, उसे माघ पूर्णिमा के दौरान गंगा जैसी पबित्र नदी में स्नान कर लेना चाहिए।
हमारे हिन्दू धर्म में माघ पूर्णिमा पर्ब को माघी पूर्णिमा के नाम पर भी जाना जाता है। इसी दिन बिसेस रूप से भगबान विष्णु और माता लक्ष्मी की पूजा की जाती है। हिन्दू धर्म के परंपरा केहेती है की माघ पूर्णिमा के बिसेस मुहूर्त पर उपासना करने से जीबन खुशहाल हो जाती है।
माघ पूर्णिमा क्या है?
माघ पूर्णिमा का समय को हमारे हिंदू धर्म में एक पवित्र दिन के रूप में माना जाता है। इसी दिन को आस्था, तप और दान-पुण्य कार्य के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है। और हिन्दू धर्म कहता है इस दिन गंगा, यमुना, सरस्वती जैसी पवित्र नदी में स्नान करने का बिसेस लाभ है। और इस दिन को माघ स्नान भी कहा जाता है, इसी दिन स्नान करने से जीबन की समस्त पापों का नाश होता है और मोक्ष की प्राप्ति होती है।
इस दिन माघ पूर्णिमा का सुभ समय के अबसर पर भगवान विष्णु, माता लक्ष्मी और शिव की पूजा करने और सत्यनारायण व्रत कथा सुनने तथा जरूरतमंदों को जरूरत की चीजे देने से पुण्य फल प्राप्त होता है। कहा जाता है की माघ पूर्णिमा के दिन को सभी देवता स्वयं संगम में वास करते हैं। माघ पूर्णिमा का पर्व आत्मशुद्धि, आध्यात्मिक उन्नति और परोपकार को बढ़ाबा देता है।
माघ पूर्णिमा कब है?
भारत में माघ पूर्णिमा 12 फेरबरी को मनाई जाएगी, पर पंचांग के हिसाब से माघ पूर्णिमा की तिथि 11 फेरबरी 6:55 मिनट से सुरु हो कर 12 फेरबरी 7:22 मिनट पर ख़तम होगा। और इसिलए ही कहा गया है की माघ पूर्णिमा की पर्ब 12 फेरबरी को ही मनाई जाएगी। और पूर्णिमा तिथि का आरम्भ 11 फेरबरी सैम को होगा।
माघ पूर्णिमा की पूजाबिधि क्या है?
माघ पूर्णिमा के समय को स्नान और दान का दिन भी कहा जाता है। इसी दिन को गंगा, यमुना और सरस्वती जैसे पबित्र नदी में स्नान करने से पुण्य मिलता है।
माघ पूर्णिमा के पूजाबिधि में सबसे पहले भगबान विष्णु और माता लक्ष्मी को स्नान कराके नूतन बस्त्र पेहेनाए और फिर पूजा स्तल में फूल और रोंगाली बनाये। माघ पूर्णिमा के पूजा में सलाह श्रृंगार का भी बिसेस महत्व है। उसके बाद भगबान विष्णु को तुलसी जल अर्पित करे, भगबान को आरती प्रदान करे और फिर भोग लगाए। माघ पूर्णिमा का पूजा करने से जीबन में सुख-समृद्धि बने रहती है।
स्नान करने का सुभ मुहूर्त
माघ पूर्णिमा में स्नान समय की बात करे तो, ब्रम्ह मुहूर्त में स्नान करना अधिक सुभ माना जाता है। पर इसके अलाबा आप पुरे दिन में कभी भी स्नान कर सकते हो।
- ब्रम्ह मुहूर्त की बात करे तो ये समय सिमा सुबह 05:19 मिनट से सुरु हो कर 06:10 बजे तक है।
- गोधूलि मुहूर्त की बात करे तो ये साम 06:07 मिनट तक है।
- अमृत काल मुहूर्त साम 05:55 मिनट से रात 07:35 बजे तक रहेगा।
माघ पूर्णिमा की तिथि और सुभ मुहूर्त
माघ पूर्णिमा की तिथि और सुभ मुहूर्त की समय सिमा हमने निचे दर्शाया है:
- तिथि प्रारंभ: 11 फरवरी 2025, मंगलवार – दोपहर 02:23 बजे
- तिथि समाप्त: 12 फरवरी 2025, बुधवार – सुबह 11:35 बजे
इसी निर्धारित समय सिमा के अंदर सभी को पूजा बिधि करनी चाहिए। क्यों की ये समय सिमा ही उचित समय है माघ पूर्णिमा की तिथि और सुभ मुहूर्त के लिए।
भगबान विष्णु, माता लक्ष्मी और शिव की पूजा
माघ पूर्णिमा के समय में भगबान विष्णु और देबि लक्ष्मी की पूजा करने से घर में धन-सम्पति का बारिश होती है। और साथ साथ भगबान शिव की पूजा करने से मनुस्य की सभी कस्ट और परिसानिया दूर होती है। इसी दिन शिवलिंग पर जल चढ़ाके प्राथना करना चाहिए। इसे मनुस्य को भगबान शिव की कृपा प्राप्त होती है।
माघ पूर्णिमा 2025 का ज्योतिषीय महत्व क्या है?
माघ पूर्णिमा 2025 का ज्योतिषीय महत्व की बात करे तो:
- सभी ग्रहों की शुभ स्थिति के कारण से इस दिन में किए गए हर पूजा-पाठ का अच्छा फल मिलता है।
- माघ पूर्णिमा के दिन चंद्रमा की आराधना करने से मानसिक शांति और सकारात्मक ऊर्जा मिलती है।
- माघ पूर्णिमा के दिन चंद्रमा पूर्ण स्थिति में होता है, और ये सकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाता है।
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निष्कर्ष
माघ पूर्णिमा का पर्ब हिन्दू धर्म में आध्यात्मिक उन्नति, आत्मशुद्धि और दान-पुण्य का महापर्व है। हर ब्यक्ति इस दिन को गंगा स्नान करके भगवान विष्णु, माता लक्ष्मी और शिव की पूजा करनी चाहिए। ज्ञानिओ ने कहा है की सत्यनारायण व्रत और दान करने से जीवन में सुख-समृद्धि आती है। इसी साल 2025 में माघ पूर्णिमा पर्व 12 फरवरी को मनाया जाएगा।
आप सभी नागरिको को माघ पूर्णिमा 2025 की हार्दिक शुभकामनाएँ! धनयबाद।